Salman Khan Lawrence Bishnoi: पंजाब के बठिंडा जेल से गैंगस्टर लॉरेंस बिश्नोई ने पिछले साल एक टीवी चैनल को दिए इंटरव्यू में कहा था कि “सलमान खान को हमारे (बिश्नोई) मंदिर में आकर समुदाय की भावनाओं को ठेस पहुंचाने के लिए माफी मांगनी चाहिए। उस इंटरव्यू को डेढ़ साल से अधिक समय बीत चुका है।
इस बीच एनसीपी नेता बाबा सिद्दीकी की हत्या कर दी गई। कथित तौर पर बिश्नोई गैंग ने अभिनेता सलमान खान से संबंधों का हवाला देकर बाबा सिद्दीकी की हत्या को अंजाम दिया। हत्या के बाद बीजेपी के एक नेता ने भी सलमान खान को 1998 के काले हिरण शिकार मामले में बिश्नोई समुदाय से माफी मांगने का सुझाव दिया है।
1998 में सलमान खान पर आरोप लगाया गया था कि उन्होंने फिल्म “हम साथ-साथ हैं” की शूटिंग के दौरान राजस्थान में दो काले हिरणों का शिकार किया था। काला हिरण बिश्नोई समुदाय के लिए पवित्र माना जाता है, और इस घटना ने पूरे देश में खासकर बिश्नोई समुदाय के बीच भारी आक्रोश पैदा किया। बिश्नोई समुदाय का मानना है।
सलमान खान ने “अपराध” किया है और उन्हें माफी मांगनी चाहिए,लेकिन यह माफी समुदाय द्वारा निर्धारित सख्त नियमों के तहत होनी चाहिए। बिश्नोई पंथ के संस्थापक गुरु जम्भेश्वर द्वारा स्थापित 29 नियमों (नियमों की एक कोड) के तहत ही माफी और प्रायश्चित किया जा सकता है।
इस मामले को लेकर बिश्नोई समुदाय का कहना है कि सलमान खान ने उनके धार्मिक विश्वासों का उल्लंघन और जब तक वह सार्वजनिक रूप से माफी नहा नागते, तब तक समुदाय उनके खिलाफ कार्रवाई जारी रखेगा।
क्या है बिश्नोई समाज
बिश्नोई समुदाय राजस्थान और हरियाणा के प्रमुख क्षेत्रों में बसे एक धार्मिक और पर्यावरणीय संवेदनशील समुदाय के रूप में जाना जाता है। इस समुदाय की स्थापना 15वीं शताब्दी में गुरु जंभेश्वर (जिन्हें गुरु जांभोजी भी कहा जाता है) ने की थी। बिश्नोई पंथ प्रकृति और जीवों की रक्षा करने के लिए अपने सख्त धार्मिक सिद्धांतों के पालन के लिए जाना जाता है।
बिश्नोई समुदाय का इतिहास और महत्व
गुरु जांभोजी ने सन 1485 में बिश्नोई पंथ की स्थापना की और 29 नियमों का पालन करने का आदेश दिया, जो पर्यावरण संरक्षण, अहिंसा और पशु-जीवों की सुरक्षा पर आधारित हैं। इनमें से कई नियम पेड़ों और जीवों की रक्षा से संबंधित हैं,और यही कारण है कि यह समुदाय काले हिरण (ब्लैकबक) को पवित्र मानता है और उनके संरक्षण के लिए प्रतिबद्ध है।
1998 में, जब सलमान खान पर राजस्थान के कांकाणी गांव में दो काले हिरणों के शिकार का आरोप लगा, तो यह घटना बिश्नोई समुदाय के धार्मिक और सांस्कृतिक भावनाओं को ठेस पहुंचाने वाली मानी गई। इस घटना ने पूरे देश में सनसनी फैला दी,खासकर बिश्नोई समुदाय के बीच गहरा आक्रोश पैदा किया।
मेरा नाम अमर मिश्रा है और मैं मध्यप्रदेश के रीवा जिले का निवासी हूं। मैंने अपनी स्नातक की पढ़ाई B.Com / CA अवधेश प्रताप सिंह विश्वविद्यालय (APSU) से पूरी की है। मुझे मीडिया जगत में काम करते हुए लगभग 9 साल से ज्यादा का अनुभव है।मैंने 2016 में रीवा जिले में पत्रकारिता की शुरुआत की थी और FAST INDIA NEWS से अपने कैरियर की शुरुआत की। इसके बाद, 2017-18 में मैंने मध्यप्रदेश जनसंदेश और आंखों देखी लाइव में महत्वपूर्ण भूमिकाएँ निभाईं। 2019 में, मैंने अमरकीर्ति समाचार पत्र में रीवा ब्यूरो प्रमुख के रूप में कार्य किया। 2019-20 से, मैं HARIT PRAWAH समाचार पत्र का सम्पादक हूँ।अपने पत्रकारिता करियर के दौरान, मुझे सटीक और निष्पक्ष समाचार प्रस्तुत करने के लिए कई बार सम्मानित किया गया है। मेरी कोशिश हमेशा यही रही है कि मैं अपने पाठकों को सच्ची और प्रामाणिक खबरें प्रदान करूं।पत्रकारिता के क्षेत्र में मेरी यह यात्रा निरंतर जारी है और मुझे विश्वास है कि भविष्य में भी मैं अपने पाठकों के लिए विश्वसनीय और सटीक समाचार प्रदान करता रहूंगा।
संपादक – अमर मिश्रा