Mauganj News: मऊगंज में BJP नेता नगर परिषद अध्यक्ष को हुई जेल, बोले - न्यायपालिका में सोर्स चलता है यह पता नहीं था
Mauganj News today: मऊगंज-जिले के हनुमना नगर परिषद के अध्यक्ष आशुतोष उर्फ सोनू गुप्ता को माननीय न्यायिक मजिस्ट्रेट प्रथम श्रेणी आनंद बागरी की कोर्ट मऊगंज द्वारा मारपीट के एक केश में धारा 325 का दोषी करार देते हुए 3 माह के सश्रम कारावास तथा ₹1000 के अर्थ दंड से दंडित किये जाने की सजा सुनाई गई है।

उल्लेखनीय है कि आशुतोष उर्फ सोनू गुप्ता द्वारा 29 जनवरी 2011 को हनुमना निवासी दिव्याकांत त्रिपाठी के साथ मारपीट करते हुए हाथ की उंगली मरोड़ कर अस्थि भंग कर दिया गया था जिसकी रिपोर्ट दिव्याकांत त्रिपाठी द्वारा हनुमना थाने में करने पर सोनू गुप्ता के नगर सेठ होने के चलते उनके दबाव में पुलिस ने महज 155 में रिपोर्ट दर्ज कर इतिश्री कर दिया था। किंतु पीड़ित द्वारा पुलिसिया कार्रवाई से संतुष्ट न होते हुए माननीय न्यायालय मऊगंज में परिवाद दायर किया गया। 14 वर्षों तक चले प्रकरण में माननीय न्यायालय द्वारा अपीलार्थी के साथ किए गए मारपीट को सही पाते हुए आशुतोष उर्फ सोनू गुप्ता को भारतीय दंड विधान की धारा 325 का दोषी करार देते हुए 3 वर्ष के सश्रम कारावास एवं ₹1000 के अर्थ दंड से दंडित किए जाने का फैसला सुनाया।
कुछ इस तरह हुआ फैसला
माननीय मजिस्ट्रेट न्यायालय में चल रहे प्रकरण में लगातार गवाहो व साक्ष्यों को अपने विरुद्ध पाते हुए आशुतोष उर्फ सोनू गुप्ता ने सजा होने के भय से सजा से बचने के लिए स्वयं चक्रव्यूह रचते हुए मजिस्ट्रेट न्यायालय के फैसले के पूर्व ही द्वितीय अपर एवं सत्र न्यायाधीश माननीय हीरालाल अलावा के यहां अपील कर डाली किंतु कहा जाता है कि पापी का पाप उसके सिर चढ़कर बोलता है और माननीय अपर एवं सत्र न्यायाधीश श्री हीरालाल अलावा ने भी प्रकरण की पुष्टि करते हुए अधीनस्थ न्यायालय को प्रकरण वापस भेज दिया तथा अधीनस्थ न्यायालय के माननीय मजिस्ट्रेट आनंद बागरी द्वारा दिनांक 18- 3-25 को दिए गए अपने फैसले में हनुमना नगर के वर्तमान नगर परिषद अध्यक्ष आशुतोष उर्फ सोनू गुप्ता को धारा 325 का दोषी करार देते हुए 3 माह के सश्रम करवास तथा 1000 के नगद अर्थदण्ड से दंडित किया है। इस प्रकार शिकारी अपने ही बुने जाल में स्वयं फस गया क्योंकि निचली अदालत के फैसले के पूर्व यदि अपर न्यायालय में अपील ना किया होता और माननीय अपर न्यायालय द्वारा भी उपरोक्त धारा का दोषी करार न दिया गया होता।
माननीय जिला न्यायालय में इसकी अपील की जा सकती थी लेकिन माननीय जिला न्यायाधीश के न्यायालय ने भी स्वयं उपरोक्त को 325 का दोषी करार देते हुए फाइल अधीनस्थ न्यायालय को सौंपी थी। इसलिए अब अध्यक्ष महोदय को सीधे हाई कोर्ट की शरण लेने के अलावा दूसरा रास्ता नहीं दिखाई देता!
न्यायपालिका में सोर्स चलता है यह पता नहीं था
पत्रकार ने जब सोनू गुप्ता से बात की तो उन्होंने कहां की यह सब सोची समझी साजिश के तहत और पैसे वसूलने के लिए किया गया है। यहां तक उन्होंने ब्लैकमेलिंग करने के आरोप भी लगाए है, सोनू गुप्ता ने आगे कहा कि ना इसके कोई साक्ष्य है और ना ही कोई गवाह इसके बावजूद भी न्यायपालिका ने ऐसे आदेश दिए हैं मुझे पता नहीं था कि न्यायपालिका में भी सोर्स चलते हैं। अब हम इस मामले को ऊपर तक ले जाएंगे और आगे अपील करेंगे।
बीजेपी में शामिल हुए थे नगर परिषद अध्यक्ष
सोनू गुप्ता उर्फ आशुतोष गुप्ता वर्तमान में हनुमना नगर परिषद अध्यक्ष हैं और वह बीजेपी के सदस्य भी है। उन्होंने करीब 1 साल पहले बीजेपी अध्यक्ष वीडी शर्मा के हाथों भाजपा कार्यालय भोपाल में मऊगंज विधायक प्रदीप पटेल की अगवाई में बीजेपी सदस्यता प्राप्त की थी। इसके बाद वह पूरे क्षेत्र में चर्चा में आ गए थे।